इंडिया में बादलों ने करवट लेनी शुरू कर दी है और मानसून दस्तक दे रहा है. बारिश के साथ पानी भरे रोड आयेंगे और आयेंगे उनमें फंसे हुए मोटरिस्ट. पेश है एक मैकेनिक की सलाह जो आपका काफी सारा पैसा और समय बचा सकता है. और यही सलाह कार्स के लिए भी लागू होती है.
यहाँ क्या हो रहा है?
मैकेनिक यहाँ तमिल भाषा में ये समझा रहा है की “आपको पानी में डूबने के बाद बंद हो गयी बाइक को कभी भी किक स्टार्ट करने की कोशिश नहीं करनी चाहिए.” इंजन को स्टार्ट करने की कोशिश करने से आमतौर पर पानी सेंस करने से बंद हो जाने वाला इंजन पानी खींच लेता है. बाइक को किक-स्टार्ट करने से पिस्टन हिलने लगता है जिससे इंजन के अन्दर वैक्यूम बनता है और चैम्बर के अन्दर पानी घुसने लगता है.
ये इंजन को काफी ज़्यादा डैमेज कर सकता है और इससे ये भी हो सकता है की इंजन कभी रिपेयर ना हो पाए. मैकेनिक फिर समझाता है की अगर बाइक पानी में डूब जाए तो इसे मात्र 620 रूपए के खर्च में रिपेयर कराया जा सकता है. इस चार्ज में दो बार इंजन ऑइल बदलने के 300 रूपए शामिल है. इंजन में ताज़ा ऑइल डाल कर इसे फ्लश किया जाता है और फिर नया ऑइल डाला जाता है. वो ये भी बताते हैं की नए स्पार्क प्लग के लिए 170 रूपए और 150 रूपए का लेबर चार्ज लगेगा. लेकिन अगर अब डूबे हुए बाइक को किक स्टार्ट करने की कोशिश करेंगे तो रिपेयर का खर्च 5,000 रूपए या उससे ज़्यादा भी हो सकता है. अगर पानी चैम्बर में घुस जाए तो इंजन को अन्दर से पूरे अरह से साफ़ करने की ज़रुरत होती है. पिस्टन, पिस्टन रिंग, और गैस्केट जैसे सेंसिटिव पार्ट्स को बदलने की ज़रुरत होती है.
मैकेनिक इस बात को प्रदर्शित करने के लिए एक Bajaj Pulsar का इस्तेमाल करता है. बाइक के राइडर ने डूबे हुए बाइक को किक स्टार्ट करने की कोशिश की और पानी इंजन में घुस गया. मैकेनिक इंजन दरें नट को खोलता है और इंजन से पानी की एक धार निकल आती है. मैकेनिक फिर ये दिखाता है की कैसे एयर फ़िल्टर भी पानी से भरा हुआ था और बाइक के एग्जॉस्ट में भी पानी भरा हुआ है.
फिर वो बाइक के अलग-अलग पार्ट्स को खोलता है और पानी को बाहर निकालता है. मैकेनिक फिर इसमें नया इंजन ऑइल भरता है और इंजन को स्टार्ट कर लेता है. गाड़ी के ओनर को ये समझना ज़रूरी है की पानी में डूबे हुए इंजन को किक स्टार्ट करने से उसका रिपेयर अमाउंट काफी हद तक बढ़ सकता है.